उज्जैन में घूमने की जगह, खर्चा और जाने का समय

महाभारत के समय में अवंती साम्राज्य की राजधानी के रूप में भी उज्जैन को जाना गया है। भारत का सबसे बड़ा मेला कुंभ जो हर 12 साल में एक बार आयोजित होता है। उसका आयोजन भी उज्जैन में ही होता है।

महाकालेश्वर मंदिर महाकालेश्वर मंदिर जो हिंदुओं का सबसे पवित्र और उत्कृष्ट तीर्थ स्थान माना जाता है। महाकालेश्वर मंदिर जो मध्य प्रदेश के और रुद्र सागर झील के किनारे पर बसा हुआ है।

राम मंदिर घाट उज्जैन में स्थित राम मंदिर घाट हिंदू धर्म के सभी लोगों के लिए एक धार्मिक पर्यटक स्थल माना जाता है। हिंदुओं के लिए राम घाट पर स्नान करना पुण्य का काम माना जाता है।

कलियादेह पैलेस उज्जैन में स्थित कलियादेह पैलेस जो उज्जैन की धार्मिक संस्कृति को बढ़ावा देता है और धार्मिक रूप से काफी महत्व रखता है। इस पहले इसका निर्माण 1958 ईस्वी में किया गया था।  धारियों के शासनकाल में इस स्मारक को तोड़ दिया था। लेकिन माधवराव सिंधिया ने इस स्मारक की आंतरिक सुंदरता को देखकर इसे पुनः स्थापित करने का फैसला लिया।

गोमती कुंड गोमती कुंड एक विशाल तालाब है, जो दुनिया के सभी पवित्र जल का मिश्रण है। ऐसा माना जाता है कि भगवान श्रीकृष्ण ने सभी पवित्र जल को इस कुंड में मिलाकर इस गोमती कुंड का निर्माण करवाया था।

भर्तहरी केव उज्जैन के पर्यटक स्थलों की सूची में इस गुफा का नाम भी शामिल है यह गुफा शिप्रा नदी के तट पर स्थित है। ऐसा माना जाता है कि यहां राजा विक्रमादित्य के भाई अपनी ने अपने आरामदायक जिंदगी और सुख-दुख संस्कारित रिश्ते नाते का मोह त्याग कर यहां पर बिताई थी।

वेधशाला और जंतर मंतर उज्जैन में घूमने की जगह और पर्यटक स्थलों की सूची में वेधशाला और जंतर-मंतर का नाम भी शामिल है। इस वेधशाला का निर्माण सवाई जयसिंह ने 18वीं शताब्दी में किया था। पुराने जमाने में यह वेधशाला कई खगोलीय पिंडों की गति और खगोलीय पिंडों की घटनाओं के रूप में प्रसिद्ध थी

चिंतामन गणेश मंदिर उज्जैन की प्रसिद्ध शिप्रा नदी के किनारे बसे भगवान श्री गणेश जी का यह मंदिर काफी ज्यादा प्रसिद्ध है। पुराने इतिहास और कई सूत्रों के आधार पर ऐसा बताया जा रहा है कि इस मंदिर में जो भगवान श्री गणेश जी की मूर्ति है वह स्वयं प्रकट हुई थी। यह एक चमत्कारी मंदिर के रूप में भी जाना जाता है।

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